प्राकृतिक सौन्दर्य और अद्भुत रहस्य का अनोखा संगम पेश करता है ब्लड फॉल्स

स्वराज इंडिया न्यूज़ ब्यूरो
नई दिल्ली। प्रकृति अपने अनोखे रंगों और रहस्यों से हमेशा इंसानों को चकित करती रही है। अंटार्कटिका की बर्फ़ीली वादियों में एक ऐसा नज़ारा मौजूद है, जो प्राकृतिक सौन्दर्य और अद्भुत रहस्य का अनोखा संगम पेश करता है। इसे ब्लड फॉल्स (Blood Falls) कहा जाता है। दूर से देखने पर ऐसा प्रतीत होता है मानो सफेद ग्लेशियर की गोद से लाल खून की धार बह रही हो। यह नजारा जितना विचित्र है, उतना ही आकर्षक और मोह लेने वाला भी।

इस अद्भुत चमत्कार की खोज 1911 में ऑस्ट्रेलियाई भूवैज्ञानिक ग्रिफ़िथ टेलर ने की थी। यह झरना टेलर ग्लेशियर से निकलता है। दरअसल, लाखों सालों से बर्फ़ के नीचे दबे पानी में अत्यधिक मात्रा में मौजूद लोहा (Iron) सतह पर आने के बाद हवा के संपर्क में आकर ऑक्सीकरण (जंग) की प्रक्रिया से लाल हो जाता है। यही कारण है कि यहां बहता पानी खून जैसा प्रतीत होता है। वैज्ञानिकों के लिए ब्लड फॉल्स एक प्रयोगशाला की तरह है। यहां का अध्ययन यह समझने में मदद करता है कि पृथ्वी पर कठिनतम परिस्थितियों में भी जीवन और रासायनिक प्रक्रियाएं किस तरह संभव हैं। यही कारण है कि इसे अंतरिक्ष अनुसंधान और दूसरे ग्रहों पर जीवन की संभावनाओं को समझने के लिए भी महत्वपूर्ण माना जाता है।
भले ही यह दृश्य पहली नज़र में डरावना लगे, लेकिन वास्तव में यह प्रकृति का अनोखा चमत्कार है। बर्फ़ की निर्मल धवल चादर के बीच बहती लाल धारा एक अद्भुत दृश्य रचती है, जो न सिर्फ पर्यटकों और वैज्ञानिकों को आकर्षित करती है, बल्कि यह साबित करती है कि प्रकृति अपने रहस्यों में कितनी अलौकिक और भव्य हो सकती है। बर्फ़ और लालिमा का यह संगम अंटार्कटिका की गोद में छिपा वह प्राकृतिक आश्चर्य है, जो धरती के सबसे अद्भुत नजारों में गिना जाता है।


